जीवन में सफलता पाने के लिए चाणक्य नीति जीवन में सफलता पाने के लिए चाणक्य नीति सफलता की गारंटी है चाणक्य चाणक्य नीति अबाउट सक्सेस जीवन में सफलता पाने के लिए याद रखें चाणक्य जीवन में सफलता पाने के उपाय chanakya niti formula life success कोई भी काम आरम्भ करने के पश्चात उससे घबराना नहीं चाहिए ,न ही उसे बीच में छोड़ना चाहिए।
जीवन में सफलता पाने के लिए चाणक्य नीति
जीवन में सफलता पाने के लिए चाणक्य नीति सफलता की गारंटी है चाणक्य चाणक्य नीति अबाउट सक्सेस जीवन में सफलता पाने के लिए याद रखें चाणक्य जीवन में सफलता पाने के उपाय chanakya niti formula life success कोई भी काम आरम्भ करने के पश्चात उससे घबराना नहीं चाहिए ,न ही उसे बीच में छोड़ना चाहिए। काम तो मानव की सबसे पूजा का दूसरा नाम हैं। जो प्राणी मन से अपना काम करते हैं ,वे सदा सुखी रहते हैं। यदि धन का नाश हो जाए ,मन की शान्ति भंग हो जाए औरत के चरित्रहीन होने का संदेह आग लगा रहा हो ,इन सब बातों को बुद्धिमान लोग दूसरों को नहीं बताते। जो व्यक्ति ऐसे करने की भूल करते हैं ,उनका लोग मज़ाक उड़ायेंगे।
चाणक्य नीति सफलता की गारंटी
- धर्म के लेन देन और व्यापार के हिसाब।विद्या एवं साहित्य के संग्रह में।खाने पीने के व्यवहार में जो लोग संकोच नहीं करते हैं। वे सदा सुखी रहते हैं।
- संतोष और धैर्य से जो सुख प्राप्त हो सकता है। वह किसी और चीज़ से नहीं।संतोष ,धैर्य ,शान्ति का मूल हैं। धन के लालच में अन्धें होकर मन को जो अशांति मिलती हैं।कष्ट होते हैं ,वे सब धैर्य और शान्ति से दूर हो जाते हैं।
- पत्नी जैसी भी हो ,धन जितना भी हो ,भोजन जैसा भी हो ,यह सब यदि समय पर मिल जाए तो सबसे अच्छा है। यह सब पा लेने के पश्चात उसे यह नहीं भूलना चाहिए कि उसका एक और कर्तव्य भी है ,वह है विद्या प्राप्त करना।
- पहले अपने साधारण शत्रु से अनुकूल व्यवहार करना चाहिए। भयंकर शत्रु को ताकत से कुचल देना चाहिए।जिससे अपनी जान को खतरा हो ,उसे कभी माफ़ नहीं करना चाहिए। उसे नष्ट करने से ही लाभ होता है।
- बहुत भले बनकर जीवन नहीं काटा जा सकता है। भले और सीधे आदमी को हर एक दबा लेता है। उसकी शराफत और ईमानदारी को लोग पागलपन समझते हैं। जैसे जंगल में सीधे पेड़ों को पहले काटा जाता है। टेढ़े मेढ़ों को लोग कम ही छेड़ते हैं। इसीलिए आप इतने सीधे मत बनिए कि लोग लूट कर ही खा जाएँ।
- हंस केवल वहीँ पर रहते हैं ,जहाँ पर उन्हें पानी मिलता हैं। सरोवर सूख जाने पर वह अपनी जगह बदल देते हैं ,किन्तु प्राणी को ऐसा स्वार्थी न होना चाहिए। उसे बार बार अपना स्थान नहीं बदलना चाहिए।
- सारी देशी दवाओं में गूर्च श्रेष्ठ माना जाता है ? विश्व के जितने भी सुख है ,उनमें सबसे अधिक सुख का साधन भोजन को माना जाता है।
- आँखें प्राणी के लिए सबसे कीमती अंग है। इनके अन्दर मष्तिष्क का निवास होता है ,इसीलिए उसकी विशेषता से इनकार नहीं किया जाता है। अपने हाथों से किया काम सबसे श्रेष्ठ होता है। मनुष्य को अपना हर काम अपने हाथों से करना चाहिए।
- ईख ,तिल,चन्दन ,दीर्लपान इनको जितना भी रगडा जाए उतना ही अच्छा होता है।
- अनाज से दस गुना आटे में ,आटे से दस गुना दूध में ,दूध से आठ गुना मॉस में और मांस से दस गुना शक्ति घी में होती हैं।
- चिंता करने से रोग बढ़ते हैं ,दूध पीने से शरीर बढ़ता है ,घी से वीर्य बढ़ता है ,मांस खाने से मांस बढ़ता है। यह प्रकृति की देन हैं।
- अपने परिवार के बाकी लोगों के साथ प्यार का व्यवहार करें। अपने साथ सदा मीठे बोल बोलें ,बदमाशों के साथ कड़ाई से पेश आयें।
- भले और विद्वान लोगों से मेल रखें ,जरुरत पड़ने पर औरत से छल करने वाले अंत में कष्ट पाते हैं।
- अंधाधुंध खर्च करने वाले ,जो अपनी आमदनी से अधिक खर्च करते हैं और दूसरों से बेमतलब झगड़ा करने वाले लोग भी सुखी नहीं रह सकते हैं।
- जो लोग लेन देन ,पढाई - लिखाई पर हर प्राणी से खुलकर बात नहीं करते हैं। वे सदा आनंद से रहते हैं।प्राणी को यदि मुक्ति प्राप्त करनी हो तो उसे झूठे बन्धनों को तोडना होगा और अपने मन का सहारा लेना होगा।मनुष्य के लिए शांति का एक मात्र केवल उसका मन हैं।
- जैसे धरती खोदने से उसमें से पानी निकलता हैं। वैसे ही गुरु की सेवा करने से विद्या प्राप्त होती है। यह बात सदा याद रखें की गुरु की सेवा के बिना इंसान कभी अच्छी शिक्षा नहीं पा सकता है।
जीवन में सफलता |
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