ममता कहानी जयशंकर प्रसाद

SHARE:

ममता कहानी जयशंकर प्रसाद ममता कहानी का सारांश ममता का चरित्र चित्रण ममता कहानी का उद्देश्य कहानी से शिक्षा ममता कहानी के प्रश्न उत्तर कठिन शब्द अर्थ

ममता कहानी जयशंकर प्रसाद


मता कहानी ममता कहानी के लेखक ममता कहानी का सारांश ममता कहानी की समीक्षा ममता कहानी का संदेश क्या है ममता कहानी के प्रश्न उत्तर Jai Shankar Prasad stories by Jai Shankar Prasad हुमायूँ और ममता  mamta jaishankar prasad summary in hindi mamta jaishankar prasad ki kahani mamta jaishankar prasad 


ममता कहानी का सारांश

ममता कहानी जयशंकर प्रसाद जी की ऐतिहासिक कहानी है। प्रस्तुत कहानी में ममता रोहतास दुर्ग के मंत्री चूड़ामणि की एकमात्र पुत्री थी। वह विधवा हो चुकी थी। वह दुर्ग एक कमरे में रहती थी। सब सुख साधन होते हुए भी उसके लिए विधवा का दुःख असहनीय था। चूड़ामणि उसे प्रसन्न रखने का पूरा प्रयास करते थे। शेरशाह सूरी विभिन्न स्थानों पर विजय प्राप्त करता हुआ रोहतास दुर्ग के पास आ गया। चूड़ामणि ने बहुत सा सोना रिश्वत के रूप में लेकर शेरशाह सूरी के सैनिकों के लिए दुर्ग का द्वार खोल दिया और सोना अपनी पुत्री को सौंप दिया। ममता को रिश्वत का यह सोना पसंद नहीं आया परन्तु चूड़ामणि उसे उसी के पास छोड़ कर चले गए।

ममता कहानी जयशंकर प्रसाद
अगले दिन शेरशाह सूरी के साथियों की डोलियाँ दुर्ग में प्रवेश करने लगी। चूड़ामणि ने डोलियों का आवरण हटाकर उन्हें देखना चाहा परन्तु शत्रु सैनिक इसके लिए तैयार न हुए और युद्ध छिड गया। इस युद्ध में चूड़ामणि मारे गए। शेरशाह ने राजा -रानी और कोष आदि सब को अपने अधिकार में ले लिया। ममता चुपके से कहीं खिसक गयी। वह शत्रुओं से बचकर काशी के उत्तर में धर्मचक्र विहार के खंडहरों में अपनी झोपड़ी बनाकर रहने लगी। 

एक रात को दीपक के प्रकाश में वह कुछ पढ़ रही थी। तभी एक व्यक्ति ने उसके द्वार पर आकर शरण माँगी। शरणागत की रक्षा करना अपना कर्तव्य समझकर ममता ने उसे झोपड़ी में स्थान दे दिया और स्वयं खंडहरों में रात बिताने को निकल गयी। यह व्यक्ति मुग़ल सम्राट हुमायूँ था ,जो शेरशाह सूरी से डरकर भाग निकला था और उसने ममता के यहाँ शरण पायी थी। 

हुमायूँ के सैनिक उसे ढूंढ़ते ढूंढ़ते झोपड़ी के पास आ गए। उसने अपने सैनिकों की सहायता से ममता को ढूँढकर कुछ इनाम देना चाहा ,पर वह उन्हें न मिल पायी। यहाँ से जाते समय हुमायूँ ने अपने सेनापति मिर्जा को कहा - 'मिर्जा ,मैं उस स्त्री को कुछ न दे सका। तुम उसकी झोपड़ी के बदले घर बनवा देना। यह स्थान भूलना मत। 

मुगलों और पठानों का युद्ध चौसा में हुआ था। इस युद्ध को समाप्त हुए बहुत दिन बीत गए। ममता सत्तर वर्ष की वृद्धा हो चुकी थी। ममता रुग्ण होकर अपनी झोपड़ी में पड़ी थी। कुछ महिलाएँ उसकी सेवा कर रही थी। कुछ मुग़ल सैनिक झोपड़ी को खोजते हुए वहां आ पहुँचे। ममता ने उन्हें बुलवा भेजा। एक घुड़सवार पास आया। ममता ने उनसे सुना था कि सम्राट उसकी झोपड़ी में एक दिन ठहरा था। और उसने घर बनाने की आज्ञा दी थी। ममता ने कहा - मैं जीवन भर अपनी झोपड़ी नहीं उखडवाना चाहती थी। परन्तु अब मैं प्राण त्यागने वाली हूँ। अब तुम यहाँ जो कुछ चाहो ,वही बना दो। " यह कहकर उसने प्राण छोड़ दिए। 

ममता की मृत्यु के बाद एक अष्टकोण मंदिर बनाया गया और उस पर लिखा गया - 'सातों देशों के राजा हुमायूँ ने एक दिन यहाँ विश्राम किया था। उनके पुत्र अकबर ने उसकी स्मृति में यहाँ गगनचुंबी मंदिर बनवा दिया था। परन्तु  शोक की बात यह है कि ममता का उस पर नाम कहीं पर लिखा नहीं गया। 

ममता का चरित्र चित्रण 

ममता रोहतास के दुर्गपति के मंत्री चूड़ामणि की एकलौती विधवा पुत्री थी। सुख के सब साधनों के होते हुए भी विधवा का दुःख के कारण उसे कुछ भी नहीं सुहाता था। चूड़ामणि उसे प्रसन्न रखने के लिए साधन जुटाता है ,यहाँ तक कि शेरशाह सूरी के सैनिकों से रिश्वत में बहुत सा सोना लेकर वह बेटी को उपहार के रूप में देता है ,परन्तु ममता इसे अर्थ न कहकर अनर्थ कहती है। 

वह एक स्वाभिमानी महिला है। पिता के मारे जाने के बाद वह अपने सतीत्व की रक्षा करती हुई बिहार के खंडहरों में जा छिपती है और वहीँ अपनी कुटियाँ बनाकर रहने लगती है। 

वह कुछ पढ़ी लिखी भी है। इसीलिए हुमायूँ जब आया तो वह दीपक के प्रकाश में कुछ पढ़ रही थी। वह ब्राह्मण के कर्तव्य के प्रति जागरूक है। हुमायूँ को शरण माँगते देखकर वह उसे भी अत्याचारी कह देती है ,परन्तु शरणागत की रक्षा को अपना कर्तव्य समझकर वह उसे झोपड़ी में स्थान दे देती है और स्वयं खडंहर में समय बिताती है। 




वह कर्मशील और सहयोगिनी है। जीवनभर वह दूसरों की सेवा में समय लगा देती है। अतः वृद्धावस्था में रोगी होने पर कई महिलाएँ उसकी सेवा करती है। 

वह किसी के अनुग्रह की इच्छुक नहीं है। हुमायूँ द्वारा मिर्जा को कुटियाँ के स्थान पर घर बनाने के आदेश को वह पसंद नहीं करती है और जीवनभर कुतियाँ में ही रहती है। मरते समय वह कहती है 'मुझे भय था कि मेरी कुटियाँ नष्ट न हो जाए परन्तु अब मैं प्राण छोड़ रही हूँ। हुमायूँ के सैनिकों ! अब तुम जो चाहो कुटियाँ के स्थान पर बना लो। "
इस प्रकार ममता का जीवन आदर्श जीवन था। वह एक स्वाभिमानी ,सेवा परायण और कर्त्तव्यनिष्ठ महिला थी। 


ममता कहानी का उद्देश्य

ममता कहानी जयशंकर प्रसाद की प्रसिद्ध ऐतिहासिक कहानी है। इसमें कहानीकार ने एक अभावग्रस्त ब्राह्मणी के माध्यम से भारतीय संस्कृति की श्रेष्ट साधनाओं का आदर्श प्रस्तुत किया है। इस कहानी के माध्यम से प्रसाद जी अभावग्रस्त नारी की मनोव्यथा को तो वाणी देते ही है साथ ही वे भारतीय संस्कृति में दृढ विश्वास को भी उजागर करते हैं। प्रसाद जी की ममता नामक पात्रा आजीवन कष्ट उठाने के लिए तत्पर हो जाती है लेकिन स्थितियों के साथ समझौता नहीं करती है। कहानी के अंत में प्रसाद जी ममता के शिलालेख में उल्लेख न करने की घटना के माध्यम से बताते हैं कि समाज मूल भावों को दबाकर उपरी सत्ताओं से ही परिचित हो जाता है। 

ममता कहानी से क्या शिक्षा मिलती है ? 

ममता कहानी एक ऐतिहासिक कहानी है जो ममता के संघर्षपूर्ण एवं दृढनिश्चयी रूप का दर्शन कराती है। इस कहानी से हमें यह सीख मिलती है जो कि परिस्थितियाँ चाहे कितनी भी विकट क्यों न हो जाए अपने दायित्यों से तथा अपने धर्म से हमें कभी नहीं डिगना चाहिए। धर्म से पतित व्यक्ति कभी सुखी नहीं हो पाता। जबकि जीवन की विकट स्थितियों से जूझने और अपने मूल्यों पर चलने का नाम है। ऐसा करने के बाद ही हम जीवन में सर उठाकर चल सकते हैं। 


ममता कहानी के प्रश्न उत्तर 

प्र. पिता के प्रकोष्ठ में प्रवेश करते समय ममता के मन की क्या दशा थी ? उसकी इस दशा का क्या कारण था ?
उ. ममता इस समय रोहतास दुर्ग के एक प्रकोष्ठ में बैठी हुई सोन नदी के बहते हुए पानी को ध्यानपूर्वक देख रही थी। उसके मन में वेदना है। उसके मस्तिष्क में विचारों की आँधी चल रही थी। उसकी आँखों में आंसूं हैं और वह सब कुछ रहते हुए भी ऐसा लग रहा था जैसे उसके बिस्तर पर काँटे बिछे हुए हैं। उसके मन में अँधेरा था। इसका कारण यह था कि वह बाल विधवा थी। हिन्दू समाज में विधवा को हेय दृष्टि से देखा जाता है। 

प्र. ममता द्वारा उपहार स्वीकार न करने का क्या परिणाम निकला ?
उ. ममता ने पिता को घूस लेने से फटकारा। उसने यह भी याद दिलाया कि हम ब्राह्मण है। क्या हमें कोई दो मुट्ठी अनाज भिक्षा में नहीं देगा ? चूड़ामणि ने ममता को पागल समझा और वहां से चले गए। दूसरे दिन जब चूड़ामणि ने डोलियों का ताँता देखा तो समझ गए कि पठान स्त्रीवेश में दुर्ग में घुस आये हैं। उनकी अंतरात्मा ने उन्हें धिक्कारा। उन्हें अपनी गलती समझ में आई। इसीलिए उन्होंने उन पठान सैनिकों को रोकना चाहा और अंत में वहीँ पर उनकी मृत्यु हो गयी। दुर्ग में सैनिक ममता को खोजते रहे लेकिन ममता वहां से चुपचाप निकल गयी। 

प्र. ममता ने मुग़ल सैनिक को आश्रय क्यों दिया ?
उ. ममता ने जल पिला कर मुग़ल के प्राणों की रक्षा की। लेकिन उसके मन में विचार आता रहा कि सब विधर्मी दया के पात्र नहीं - इन लोगों ने ही मेरे पिता का वध किया था। उसका मन घृणा से भर उठा। लेकिन ममता ने विचार आया कि वह एक ब्राह्मण है और ब्राह्मण का धर्म अतिथिदेव की उपासना करना है। इसीलिए उसने सैनिक को आश्रय दिया। 

प्र. पथिक कौन था ? किससे आश्रय माँगा ? उसके आश्रय माँगने का क्या कारण था ?
उ. पथिक एक घायल मुग़ल सैनिक था जो वास्तव में हुमायूँ था। उसने ममता से एक रात झोपड़ी में बिताने की आज्ञा माँगी। उसके आश्रय माँगने का यह कारण था कि चौसा के मैदान में वह शेरशाह से हार गया था। उसकी सेना भाग खड़ी हुई। वह अपने सैनिकों से बिछड़ गया। वह घायल और थका हुआ है। उसका अश्व गिर गया है। अब वह एक कदम भी आगे नहीं चल सकता है। 

प्र. पथिक ने इस आश्रय के बदले ममता को क्या देना चाहा और क्यों ?
उ. पथिक अर्थात हुमायूँ ने पहले तो अपने सैनिकों से ममता को खोजने के लिए कहा। वह उसे उसी समय इनाम देना चाहता था। ममता डरी हुई दिन भर मृगदाव में छिपी रही। शाम तक ममता के न मिलने पर पथिक ने दुखी होकर मिर्जा से कहा कि मैं उसे कुछ दे न सका। उसका घर बनवा देना। इसका कारण यह था कि उस पथिक को ममता ने रात भर के लिए अपनी उस झोपड़ी में शरण दी थी। 

प्र. ममता ने अश्वारोही को अपने पास क्यों बुलाया ? उसने उससे क्या कहा ?
उ. ममता सत्तर वर्ष की एक वृद्धा है और बीमार अवस्था में खाट पर पड़ी है। झोपड़ी में उसकी सेवा में गाँव की दो एक महिलाएँ बैठी हैं। उसी समय एक अश्वारोही झोपड़ी के पास आया और एक मानचित्र के द्वारा उस झोपड़ी का पता लगाने की कोशिश कर रहा था। उसकी आवाज सुनकर ममता ने उसे अपने पास बुलाया। ममता ने कहा कि मैं नहीं जानती कि वह एक साधारण मुग़ल सैनिक था या शहंशाह लेकिन वह झोपड़ी में एक रात रुका था। वह जाते समय मेरी झोपड़ी के खुदने की जगह मेरा घर बनाने की आज्ञा दे गया था। मैं जीवन भर अपनी झोपड़ी के खुदने से डरती रही। अब मैं अपने चिर - विश्राम गृह में जा रही है ,अब तुम इसका घर बनवाओं या महल। 

प्र. स्मारक के रूप में ममता को क्या इनाम दिया गया और उस पर क्या लिखा गया ?
उ. हुमायूँ जब घायल हुआ था तो कुछ समय तक जिस स्थल पर रहा था ,उस स्थल पर उसके पुत्र अकबर द्वारा मंदिर बनवाया जाता है। यह अष्टकोण मंदिर था और उस पर एक शिलालेख में लिखा गया - सातों देशों के नरेश हुमायूँ ने एक दिन यहाँ विश्राम किया था। उनके पुत्र अकबर ने उसकी स्मृति में यह गगनचुंबी मंदिर बनवाया। 


ममता कहानी जयशंकर प्रसाद के कठिन शब्द अर्थ

प्रकोष्ठ - कमरा 
शोण - सोन नदी 
दुहिता - पुत्री 
निराश्रय - बेसहारा 
विकीर्ण - चारों तरफ फैला हुआ 
उत्कोच - रिश्वत 
पतनोउन्मुख - नीचे की ओर गिरता हुआ 
तोरण - मेहराबी दरवाजा 
भग्न - चूड़ा - टूटा शिखर 
स्तूप - बौद्ध टीला 
मलिन - मैला 
हताश - निराश 
विपत्ति - संकट 
आश्रय - सहारा 
विरक्त - उदासीन 
जीर्ण - पुराना 
अष्टकोण - आठ कोणों वाला 
होंठ काटना - अन्दर के क्रोध को प्रकट करना
अवाक - चकित 

COMMENTS

Leave a Reply
नाम

अंग्रेज़ी हिन्दी शब्दकोश,3,अकबर इलाहाबादी,11,अकबर बीरबल के किस्से,62,अज्ञेय,37,अटल बिहारी वाजपेयी,1,अदम गोंडवी,3,अनंतमूर्ति,3,अनौपचारिक पत्र,16,अन्तोन चेख़व,2,अमीर खुसरो,7,अमृत राय,1,अमृतलाल नागर,1,अमृता प्रीतम,5,अयोध्यासिंह उपाध्याय "हरिऔध",7,अली सरदार जाफ़री,3,अष्टछाप,4,असगर वज़ाहत,11,आनंदमठ,4,आरती,11,आर्थिक लेख,8,आषाढ़ का एक दिन,22,इक़बाल,2,इब्ने इंशा,27,इस्मत चुगताई,3,उपेन्द्रनाथ अश्क,1,उर्दू साहित्‍य,179,उर्दू हिंदी शब्दकोश,1,उषा प्रियंवदा,5,एकांकी संचय,7,औपचारिक पत्र,32,कक्षा 10 हिन्दी स्पर्श भाग 2,17,कबीर के दोहे,19,कबीर के पद,1,कबीरदास,19,कमलेश्वर,7,कविता,1474,कहानी लेखन हिंदी,17,कहानी सुनो,2,काका हाथरसी,4,कामायनी,6,काव्य मंजरी,11,काव्यशास्त्र,38,काशीनाथ सिंह,1,कुंज वीथि,12,कुँवर नारायण,1,कुबेरनाथ राय,2,कुर्रतुल-ऐन-हैदर,1,कृष्णा सोबती,2,केदारनाथ अग्रवाल,4,केशवदास,6,कैफ़ी आज़मी,4,क्षेत्रपाल शर्मा,52,खलील जिब्रान,3,ग़ज़ल,139,गजानन माधव "मुक्तिबोध",15,गीतांजलि,1,गोदान,7,गोपाल सिंह नेपाली,1,गोपालदास नीरज,10,गोरख पाण्डेय,3,गोरा,2,घनानंद,3,चन्द्रधर शर्मा गुलेरी,6,चमरासुर उपन्यास,7,चाणक्य नीति,5,चित्र शृंखला,1,चुटकुले जोक्स,15,छायावाद,6,जगदीश्वर चतुर्वेदी,17,जयशंकर प्रसाद,35,जातक कथाएँ,10,जीवन परिचय,76,ज़ेन कहानियाँ,2,जैनेन्द्र कुमार,6,जोश मलीहाबादी,2,ज़ौक़,4,तुलसीदास,28,तेलानीराम के किस्से,7,त्रिलोचन,4,दाग़ देहलवी,5,दादी माँ की कहानियाँ,1,दुष्यंत कुमार,7,देव,1,देवी नागरानी,23,धर्मवीर भारती,10,नज़ीर अकबराबादी,3,नव कहानी,2,नवगीत,1,नागार्जुन,25,नाटक,1,निराला,39,निर्मल वर्मा,4,निर्मला,42,नेत्रा देशपाण्डेय,3,पंचतंत्र की कहानियां,42,पत्र लेखन,202,परशुराम की प्रतीक्षा,3,पांडेय बेचन शर्मा 'उग्र',4,पाण्डेय बेचन शर्मा,1,पुस्तक समीक्षा,139,प्रयोजनमूलक हिंदी,38,प्रेमचंद,47,प्रेमचंद की कहानियाँ,91,प्रेरक कहानी,16,फणीश्वर नाथ रेणु,4,फ़िराक़ गोरखपुरी,9,फ़ैज़ अहमद फ़ैज़,24,बच्चों की कहानियां,88,बदीउज़्ज़माँ,1,बहादुर शाह ज़फ़र,6,बाल कहानियाँ,14,बाल दिवस,3,बालकृष्ण शर्मा 'नवीन',1,बिहारी,8,बैताल पचीसी,2,बोधिसत्व,9,भक्ति साहित्य,143,भगवतीचरण वर्मा,7,भवानीप्रसाद मिश्र,3,भारतीय कहानियाँ,61,भारतीय व्यंग्य चित्रकार,7,भारतीय शिक्षा का इतिहास,3,भारतेन्दु हरिश्चन्द्र,10,भाषा विज्ञान,17,भीष्म साहनी,8,भैरव प्रसाद गुप्त,2,मंगल ज्ञानानुभाव,22,मजरूह सुल्तानपुरी,1,मधुशाला,7,मनोज सिंह,16,मन्नू भंडारी,10,मलिक मुहम्मद जायसी,9,महादेवी वर्मा,20,महावीरप्रसाद द्विवेदी,3,महीप सिंह,1,महेंद्र भटनागर,73,माखनलाल चतुर्वेदी,3,मिर्ज़ा गालिब,39,मीर तक़ी 'मीर',20,मीरा बाई के पद,22,मुल्ला नसरुद्दीन,6,मुहावरे,4,मैथिलीशरण गुप्त,14,मैला आँचल,8,मोहन राकेश,15,यशपाल,15,रंगराज अयंगर,43,रघुवीर सहाय,6,रणजीत कुमार,29,रवीन्द्रनाथ ठाकुर,22,रसखान,11,रांगेय राघव,2,राजकमल चौधरी,1,राजनीतिक लेख,21,राजभाषा हिंदी,66,राजिन्दर सिंह बेदी,1,राजीव कुमार थेपड़ा,4,रामचंद्र शुक्ल,3,रामधारी सिंह दिनकर,25,रामप्रसाद 'बिस्मिल',1,रामविलास शर्मा,9,राही मासूम रजा,8,राहुल सांकृत्यायन,2,रीतिकाल,3,रैदास,4,लघु कथा,124,लोकगीत,1,वरदान,11,विचार मंथन,60,विज्ञान,1,विदेशी कहानियाँ,34,विद्यापति,8,विविध जानकारी,1,विष्णु प्रभाकर,2,वृंदावनलाल वर्मा,1,वैज्ञानिक लेख,8,शमशेर बहादुर सिंह,6,शमोएल अहमद,5,शरत चन्द्र चट्टोपाध्याय,1,शरद जोशी,3,शिक्षाशास्त्र,6,शिवमंगल सिंह सुमन,6,शुभकामना,1,शेख चिल्ली की कहानी,1,शैक्षणिक लेख,57,शैलेश मटियानी,2,श्यामसुन्दर दास,1,श्रीकांत वर्मा,1,श्रीलाल शुक्ल,4,संयुक्त राष्ट्र संघ,1,संस्मरण,33,सआदत हसन मंटो,10,सतरंगी बातें,33,सन्देश,44,समसामयिक हिंदी लेख,269,समीक्षा,1,सर्वेश्वरदयाल सक्सेना,19,सारा आकाश,20,साहित्य सागर,22,साहित्यिक लेख,86,साहिर लुधियानवी,5,सिंह और सियार,1,सुदर्शन,3,सुदामा पाण्डेय "धूमिल",10,सुभद्राकुमारी चौहान,7,सुमित्रानंदन पन्त,23,सूरदास,16,सूरदास के पद,21,स्त्री विमर्श,11,हजारी प्रसाद द्विवेदी,4,हरिवंशराय बच्चन,28,हरिशंकर परसाई,24,हिंदी कथाकार,12,हिंदी निबंध,431,हिंदी लेख,531,हिंदी व्यंग्य लेख,14,हिंदी समाचार,182,हिंदीकुंज सहयोग,1,हिन्दी,7,हिन्दी टूल,4,हिन्दी आलोचक,7,हिन्दी कहानी,32,हिन्दी गद्यकार,4,हिन्दी दिवस,91,हिन्दी वर्णमाला,3,हिन्दी व्याकरण,45,हिन्दी संख्याएँ,1,हिन्दी साहित्य,9,हिन्दी साहित्य का इतिहास,21,हिन्दीकुंज विडियो,11,aapka-banti-mannu-bhandari,6,aaroh bhag 2,14,astrology,1,Attaullah Khan,2,baccho ke liye hindi kavita,70,Beauty Tips Hindi,3,bhasha-vigyan,1,chitra-varnan-hindi,3,Class 10 Hindi Kritika कृतिका Bhag 2,5,Class 11 Hindi Antral NCERT Solution,3,Class 9 Hindi Kshitij क्षितिज भाग 1,17,Class 9 Hindi Sparsh,15,English Grammar in Hindi,3,formal-letter-in-hindi-format,143,Godan by Premchand,11,hindi ebooks,5,Hindi Ekanki,20,hindi essay,423,hindi grammar,52,Hindi Sahitya Ka Itihas,105,hindi stories,679,hindi-bal-ram-katha,12,hindi-gadya-sahitya,8,hindi-kavita-ki-vyakhya,19,hindi-notes-university-exams,67,ICSE Hindi Gadya Sankalan,11,icse-bhasha-sanchay-8-solutions,18,informal-letter-in-hindi-format,59,jyotish-astrology,22,kavyagat-visheshta,25,Kshitij Bhag 2,10,lok-sabha-in-hindi,18,love-letter-hindi,3,mb,72,motivational books,11,naya raasta icse,9,NCERT Class 10 Hindi Sanchayan संचयन Bhag 2,3,NCERT Class 11 Hindi Aroh आरोह भाग-1,20,ncert class 6 hindi vasant bhag 1,14,NCERT Class 9 Hindi Kritika कृतिका Bhag 1,5,NCERT Hindi Rimjhim Class 2,13,NCERT Rimjhim Class 4,14,ncert rimjhim class 5,19,NCERT Solutions Class 7 Hindi Durva,12,NCERT Solutions Class 8 Hindi Durva,17,NCERT Solutions for Class 11 Hindi Vitan वितान भाग 1,3,NCERT Solutions for class 12 Humanities Hindi Antral Bhag 2,4,NCERT Solutions Hindi Class 11 Antra Bhag 1,19,NCERT Vasant Bhag 3 For Class 8,12,NCERT/CBSE Class 9 Hindi book Sanchayan,6,Nootan Gunjan Hindi Pathmala Class 8,18,Notifications,5,nutan-gunjan-hindi-pathmala-6-solutions,17,nutan-gunjan-hindi-pathmala-7-solutions,18,political-science-notes-hindi,1,question paper,19,quizzes,8,raag-darbari-shrilal-shukla,7,Rimjhim Class 3,14,samvad-lekhan-in-hindi,6,Sankshipt Budhcharit,5,Shayari In Hindi,16,skandagupta-natak-jaishankar-prasad,6,sponsored news,10,suraj-ka-satvan-ghoda-dharmveer-bharti,4,Syllabus,7,top-classic-hindi-stories,51,UP Board Class 10 Hindi,4,Vasant Bhag - 2 Textbook In Hindi For Class - 7,11,vitaan-hindi-pathmala-8-solutions,16,VITAN BHAG-2,5,vocabulary,19,
ltr
item
हिन्दीकुंज,Hindi Website/Literary Web Patrika: ममता कहानी जयशंकर प्रसाद
ममता कहानी जयशंकर प्रसाद
ममता कहानी जयशंकर प्रसाद ममता कहानी का सारांश ममता का चरित्र चित्रण ममता कहानी का उद्देश्य कहानी से शिक्षा ममता कहानी के प्रश्न उत्तर कठिन शब्द अर्थ
https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhBnZoxfERwNdj8XWtp5lbbil3iM-WAGQvL8ByxSw2N5l2ALDRJRLpFBI0G4CeK-xzDDIZ4IO_41gV4IhZxcbOeWBA1_cj5wtNoIGdxhyZEjv5HE7iQ6cYRjUcoGJk5UJ_AgosuvaU5hP32Yc-Yzc_txoZN8CMjQwn8YPKEOXbAdYPMH6pOeETXUXiq4g/s320/mamta-kahani.jpeg
https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhBnZoxfERwNdj8XWtp5lbbil3iM-WAGQvL8ByxSw2N5l2ALDRJRLpFBI0G4CeK-xzDDIZ4IO_41gV4IhZxcbOeWBA1_cj5wtNoIGdxhyZEjv5HE7iQ6cYRjUcoGJk5UJ_AgosuvaU5hP32Yc-Yzc_txoZN8CMjQwn8YPKEOXbAdYPMH6pOeETXUXiq4g/s72-c/mamta-kahani.jpeg
हिन्दीकुंज,Hindi Website/Literary Web Patrika
https://www.hindikunj.com/2022/06/mamta-kahani-jaishankar-prasad.html
https://www.hindikunj.com/
https://www.hindikunj.com/
https://www.hindikunj.com/2022/06/mamta-kahani-jaishankar-prasad.html
true
6755820785026826471
UTF-8
Loaded All Posts Not found any posts VIEW ALL Readmore Reply Cancel reply Delete By Home PAGES POSTS View All RECOMMENDED FOR YOU LABEL ARCHIVE SEARCH ALL POSTS Not found any post match with your request Back Home Sunday Monday Tuesday Wednesday Thursday Friday Saturday Sun Mon Tue Wed Thu Fri Sat January February March April May June July August September October November December Jan Feb Mar Apr May Jun Jul Aug Sep Oct Nov Dec just now 1 minute ago $$1$$ minutes ago 1 hour ago $$1$$ hours ago Yesterday $$1$$ days ago $$1$$ weeks ago more than 5 weeks ago Followers Follow THIS PREMIUM CONTENT IS LOCKED STEP 1: Share to a social network STEP 2: Click the link on your social network Copy All Code Select All Code All codes were copied to your clipboard Can not copy the codes / texts, please press [CTRL]+[C] (or CMD+C with Mac) to copy बिषय - तालिका